प्रयागराज की स्पेशल MP-MLA कोर्ट ने उमेश पाल अपहरण केस में अपना फैसला सुना दिया है. 17 साल पुराने अपहरण के इस मामले में कोर्ट ने माफिया अतीक अहमद और उसके भाई समेत 10 आरोपियों को दोषी करार दिया गया है. कोर्ट ने मंगलवार की दोपहर में अपना फैसला सुनाया है.
क्या है मामला?
बीएसपी विधायक राजू पाल मर्डर केस में मुख्य गवाह उमेश पाल से जुड़े हुए मामले में कोर्ट ने फैसला सुनाया है. इस केस में आरोप था कि 28 फरवरी 2006 को अतीक अहमद और अशरफ ने उमेश पाल का अपहरण कराया था. उमेश पाल को मारपीट करने के बाद परिवार समेत जान से मारने की धमकी देते हुए कोर्ट में जबरन हलफनामा दाखिल कराया गया. 2007 में मायावती की सरकार बनने के बाद उमेश पाल ने पांच जुलाई 2007 को अतीक और अशरफ समेत 5 लोगों के खिलाफ नामजद एफआईआर दर्ज कराई गई थी.
अतीक और अशरफ समेत 11 लोगों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल थी
पुलिस की जांच में छह अन्य लोगों के नाम सामने आए. कोर्ट में अतीक और अशरफ समेत 11 लोगों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की गई. 2009 से मुकदमे का ट्रायल शुरू हुआ. अभियोजन यानी सरकारी पक्ष से कुल 8 गवाह पेश किए गए. इस केस के 11 आरोपियों में से अंसार बाबा नाम के आरोपी की मौत हो चुकी है. अतीक और अशरफ समेत कुल 10 आरोपियों के खिलाफ कोर्ट ने मंगलवार को अपना फैसला सुना दिया है.