पंजाब में बठिंडा मिलिट्री स्टेशन पर 4 जवानों की हत्या के मामले में बड़ा अपडेट सामने आया है. पंजाब पुलिस ने इस घटना की जांच को सुलझाने का दावा किया है. पुलिस ने इस मामले से जुड़े देसाई मोहन नाम के गनर को गिरफ्तार किया है. यह पहले इस मामले का चश्मदीद गवाह था. हालांकि बाद में पुलिस का शक उस पर गहराता गया और आखिरकार उसे गिरफ्तार कर लिया गया.
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बठिंडा के SSP गुलनीत खुराना ने देसाई की गिरफ्तारी की पुष्टि करते हुए कहा कि इस घटना के चश्मदीद को हत्या के आरोप में गिरफ्तार किया गया है. CIA में बंद देसाई मोहन से बठिंडा पुलिस ने देर रात तक पूछताछ की है. पुलिस के मुताबिक, अपने बयान में देसाई मोहन ने कहा है कि चारों जवान उसका यौन उत्पीड़न करते थे, जिससे तंग आकर उसने चारों को मार डाला.
4 जवानों की गोली मारकर की थी हत्या
बता दें कि 12 अप्रैल को पंजाब में बठिंडा सैन्य स्टेशन पर सेना के चार जवानों की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. घटना के वक्त ये सारे जवान स्टेशन में अपने बैरक में सो रहे थे.
मृतकों में गनर सागर बन्ने, करनालेश आर, योगेश कुमार जे और संतोष एम नागराल शामिल थे। सभी आर्टिलरी की 80 मीडियम रेजिमेंट के हैं. पहले तीन विशेष वाहनों के चालक थे, जो तोपखाने की बंदूकें खींचते थे. इन सभी की उम्र 24 से 25 साल के बीच थी.
घटना के बाद पुलिस ने मौके से हथियार और इंसास राइफल के 19 खाली खोल बरामद किए गए थे. वहीं इस घटना के ‘चश्मदीद’ देसाई मोहन ने बताया था कि उसने इंसास राइफल और कुल्हाड़ी के साथ हमलावरों को दिखा था.
इसके बाद बठिंडा छावनी पुलिस थाने में आईपीसी-302 (हत्या) और सशस्त्र अधिनियम के तहत दो अज्ञात लोगों के खिलाफ केस दर्ज कर उनकी तलाश में जुट गई थी. शुरुआत में ही पुलिस ने संकेत किया कि था कि यह घटना ‘आपसी गोलीबारी’ की प्रतीत होती है.
चश्मदीद देसाई मोहन ने सभी को भ्रमित किया
देसाई मोहन ने अपने वरिष्ठ अधिकारियों को जो सूचना दी वो भ्रमित करने वाली थी. क्योंकि जब कैंपस के सीसीटीवी फुटेज को स्कैन किया गया तो उसमें कोई भी संदिग्ध व्यक्ति दिखाई नहीं दिया है। ऐसे में साफ हुआ कि पुलिस को देसाई मोहन ने घटना पर सभी को भ्रमित किया. जब पुलिस ने उससे सख्ती से पूछताछ की तो उसने जुर्म कबूल लिया।