मध्य प्रदेश के बुरहानपुर में एक किसान ने खेत में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। बुरहानपुर के शाहपुर थाना क्षेत्र के बखारी गांव में शनिवार सुबह एक 22 वर्षीय किसान ने फसल काटे जाने के चलते फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। किसान चेतन के पिता पांडुरंग लांडे ने आरोप लगाया कि कि जल संसाधन विभाग के अफसरों और ठेकेदार ने बिना किसी सूचना के बांध निर्माण के लिए उनके खेत में लगी केला फसल को काट दिया था।
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पिता ने अफसरों पर लगाया गंभीर आरोप
पांडुरंग ने बताया कि विभाग द्वारा ना तो उन्हें भूमि अधिग्रहण की जानकारी दी गई और ना मिलने वाले मुआवजे की राशि बताई गई। अब तक उनके खाते में मुआवजे का पैसा भी नहीं आया है। बावजूद इसके बखारी स्थित सवा एकड़ के खेत पर उन्होंने काम शुरू कर दिया। इस बात से उनका बेटा चेतन काफी आहत था। शनिवार सुबह भी ठेकेदार के आदमी खेत पर पहुंचे और रोकने के बावजूद काम शुरू कर दिया। जिसके चलते चेतन ने खेत में ही फांसी लगाकर जान दे दी।
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कांग्रेस महासचिव ने शिवराज सरकार को घेरा
इस मामले में अब तक पुलिस और प्रशासन की ओर से पक्ष नहीं रखा गया है। दूसरी ओर कांग्रेस के प्रदेश महासचिव अजय रघुवंशी सहित अन्य कांग्रेस नेता शाहपुर पहुंचे हैं। उनका आरोप है कि प्रदेश की शिवराज सरकार किसान हितैषी होने के झूठे दावे करती है। वास्तव में सरकार किसानों की जान ले रही है। अजय रघुवंशी ने कहा कि बिना मुआवजा वितरण किए किसान से उसका खेत छीनने का किसी को अधिकार नहीं है। उन्होंने मृतक किसान के परिवार को अविलम्ब 25 लाख मुआवजा देने और ठेकेदार के विरुद्ध आत्महत्या के लिए प्रेरित करने का मामला दर्ज कर उसे ब्लैक लिस्टेड करने की मांग की है।